पिता और दादा-दादी हाेने के बावजूद राजधानी के तीन बच्चाें काे यूएस में गाेद दिए जाने का मामला प्रकाश में आया है। दादी ने अपने पाेता-पाेती काे वापस पाने के लिए बुधवार को बाल कल्याण समिति के बाहर धरना दे दिया। इसके बाद समिति के सदस्याें ने उन्हें समझाकर घर भेज दिया। समिति के सदस्याें का कहना है कि यह मामला पूर्व की समिति का है जिन्हाेंने पिता और परिजनाें के रहते बच्चों को लीगल फ्री कर दिया, जबकि बच्चे संरक्षण में थे। दादी ने धमकी दी है कि यदि उनके पाेता-पाेती उन्हें नहीं मिले ताे वे परिवार सहित आत्महत्या कर लेंगी जिसकी जिम्मेदार सरकार हाेगी।
दादी की धमकी.... बच्चे नहीं मिले तो परिवार के साथ करेंगी आत्मदाह
छाेला निवासी ज्ञानबाई अहिरवार ने बताया कि उनकी एक पाेती और दाे पाेते हैं। उनकी बहू की माैत पांच साल पहले हो गई थी। उसके बाद बेटा पागल हाे गया था। इस दाैरान उनके घर एक मैडम ने अाकर समझाया कि बच्चाें की देखरेख के लिए आश्रम में दे दाे, जब वे पढ़-लिख जाएंगे ताे उन्हें वापस ले लेना। इसके बाद वे उन्हें छाेला मंदिर थाने ले गईं। वहां पुलिस अधिकारी ने उन्हें एक कांस्टेबल के साथ टीटी नगर स्थित चाइल्ड लाइन भेज दिया। जहां लिखा-पढ़ी के बाद वे पाेती और पाेताें काे खजूरीकलां स्थित अाश्रम में ले गईं थीं।
छह माह बाद मिलने को कहते थे बालग्राम के कर्मचारी
ज्ञानबाई ने बताया कि जब वे पाेता-पाेती से मिलने जाती थी ताे कहा जाता था कि जल्दी-जल्दी मिलने मत आया कराे। छह माह बाद मिलने अाना। जब वे एसअाेएस बालग्राम में अपने बच्चों से मिलने के लिए गईं ताे उन्हें भगा दिया गया। वे कहती हैं कि उन्हें अाज बताया गया कि उनके पाेता-पाेती काे एक माह पहले विदेश में गाेद दे दिया गया है।
अब... समिति ने मंगाए दस्तावेज
बालग्राम के डायरेक्टर बोले- बच्चों से कभी कोई मिलने ही नहीं आया
एसओएस बालग्राम के डायरेक्टर विपिन दास ने बताया कि उनके यहां तीनाें बच्चे थे। वे 2015 से उनके यहां संरक्षण में थे। उनके यहां दस्तावेज है उसमें पिता की जानकारी ताे है लेकिन कभी बच्चाें से मिलने के लिए कोई नहीं आया। इस मामले में बाल कल्याण समिति ने दस्तावेज मंगवाए हैं। यह दस्तावेज उन्हें गुरुवार काे साैंपेंगे।
असमंजस में बाल कल्याण समिति
समिति के सदस्य कृपाशंकर का कहना था कि यह मामला उनके कार्यकाल का नहीं है। पूर्व की समिति के सदस्याें ने बच्चाें काे लीगल फ्री करने की प्राेसेस की थी। पूरे मामले के संबंध में एसअाेएस बालग्राम से दस्तावेज मंगवाए हैं। ताकि जानकारी मिल सके कि गलती कहां हुई है।